परिशिष्ट III: राज्यों में अल्पसंख्यकों द्वारा जनसंख्या का सामुदायिक वितरण
सारांश
यह परिशिष्ट बंगाल के विभिन्न जिलों में जनसंख्या के सामुदायिक वितरण की विस्तृत जानकारी प्रदान करता है, जिसमें मुस्लिम, अनुसूचित जातियाँ, हिन्दू और भारतीय ईसाईयों के अनुपातों को उजागर किया गया है। यह जनगणना विभाजन के युग में बंगाल की सामाजिक-राजनीतिक परिदृश्य को समझने के लिए महत्वपूर्ण है।
मुख्य बिंदु
- भौगोलिक क्षेत्र: परिशिष्ट बंगाल में बर्धमान, बीरभूम, बांकुरा, मिदनापुर, हुगली, हावड़ा, 24 -परगना, कलकत्ता, नदिया, मुर्शिदाबाद, खुलना, राजशाही, दिनाजपुर, जलपाईगुड़ी, दार्जिलिंग, रंगपुर, बोगरा, पाबना, मालदा, ढाका, मैमनसिंह, फरीदपुर, बकरगंज, टिप्पेरा, नोआखाली, चटगाँव, चटगाँव हिल ट्रैक्ट्स और जेसोर सहित विभिन्न जिलों को कवर करता है।
- जनसंख्या डेटा: परिशिष्ट में मुख्य समुदायों – मुस्लिम, अनुसूचित जातियाँ, हिन्दू, और भारतीय ईसाईयों के वितरण के साथ कुल जनसंख्या संख्या दी गई है। यह डेटा बंगाल के धार्मिक और सांस्कृतिक ताने-बाने की विविधता को दर्शाता है।
- सामुदायिक अनुपात: प्रत्येक जिले के लिए, प्रत्येक समुदाय के अनुपातों को प्रत िशत में दर्शाया गया है, जो सामुदायिक संतुलन में अंतर्दृष्टि प्रदान करते हैं। जिलों में महत्वपूर्ण भिन्नताएँ सामुदायिक वितरण के जटिल मोज़ेक को इंगित करती हैं।
निष्कर्ष
“पाकिस्तान या भारत का विभाजन” के परिशिष्ट III में राज्यों में अल्पसंख्यकों द्वारा जनसंख्या के सामुदायिक वितरण का सूक्ष्मता से दस्तावेजीकरण किया गया है, जिसमें मुख्य रूप से बंगाल पर ध्यान केंद्रित है। यह क्षेत्र की विविध और जटिल जनसांख्यिकीय संरचना को प्रदर्शित करता है, विभिन्न समुदायों की महत्वपूर्ण उपस्थिति को रेखांकित करता है। यह जनसांख्यिकीय स्नैपशॉट क्षेत्र की सामाजिक-राजनीतिक गतिकी और विभाजन के उस पर सामुदायिक सामंजस्य पर प्रभाव को समझने के लिए महत्वपूर्ण है।